अयोध्या में 21 फरवरी को होगा राम-मंदिर का शिलान्यास, संतों ने किया ऐलान
राम मंदिर निर्माण को लेकर दिन और तारीख निश्चित कर दी गई है. अयोध्या में राम मंदिर निर्माण का कार्य आगामी 21 फरवरी से चालू हो जाएगा. 21 फरवरी को राम मंदिर निर्माण के शिलान्यास के लिए किस जगह को चुना जाएगा, इसके बारे में कुछ भी स्पष्ट नहीं बताया गया हैै. अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के शिलान्यास के लिए प्रयागराज के कुभ क्षेत्र में संतों ने धर्म संसद की. तीन दिनों तक चली इस धर्म संसद के आखिरी दिन इस बात का फैसला लिया गया. [the_ad id=”1083″]इस धर्म संसद के प्रमुख शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती ने ये भी बताया कि इस फैसले को लेकर लगभग सभी अखाड़ों के संतों से बात हो चुकी है. इस संसद के आयोजकों ने बताया है कि इस धर्म संसद में दुनिया भर से सनातन धर्म के प्रतिनिधि जुड़े थे. इसी दौरान राम मंदिर के निर्माण को लेकर भी फैसला लिया गया है. बता दें कि इस धर्म संसद का आयोजन कुंभ मेला क्षेत्र के सेक्टर नौ स्थित गंगा सेवा अभियानम के शिविर में किया गया था.
इस कार्यक्रम में आए आयोजकों का मानना है कि सरकार कुछ भी ना कर पाएगी. इस दौरान स्वामी शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने गंगा के साफ ना होने पर भी नाराजगी जाहिर की. उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने मां गंगा ने बुलाया, मैं गंगा निर्मल करूगा जैसे नारे लगाकर सिर्फ हिंदू समाज की भावनाओं से खेला है. पावन गंगा की हालत अभी भी सही नहीं हो पाई है. गंगा न तो निर्मल हुई हैं और न ही अविरल.”
बताते चलें कि इस दौरान विश्व हिंदू परिषद भी कुंभ क्षेत्र में धर्म संसद का आयोजन कर रही है.इस धर्म संसद में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत और प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ के भी शामिल होने की आशंका जताई जा रही है. इस संसद में आशंका जताई जा रही है कि अयोध्या में राम-मंदिर निर्माण को लेकर कोई खास घोषणा भी की जा सकती है.