क्या आपके शुद्ध नमक में प्लास्टिक है ?
प्लास्टिक से होने वाला प्रदूषण अब लोगों के खाने की थाली तक पहुंच गया है.प्लास्टिक प्रदूषण का असर इतना भयानक हुआ है कि आपके किचन में आने वाले नमक में प्लास्टिक की संभावना करीब 90 फीसद तक है. ये संभावना तब अधिक बढ़ जाती है जब आप किसी एशियाई देश में रहते हो.
दरअसल, नार्थ कोरिया के कुछ शोधकर्ताओं ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि घरों में खाने के लिए उपयोग में लाए जाने वाले 90 फीसद नमक में प्लास्टिक के कड़ मौजूद हैं. पर्यावरण विज्ञान और प्रौद्योगिकी नामक एक पत्रिका में छपे एक लेख में बताया गया है कि हर साल एक वयस्क करीब 2,000 से अधिक प्लास्टिक के छोटे कड़ को खाने के द्वारा अपने शरीर के अंदर ले लेता है.खाने में प्लास्टिक की मुख्य वजह दुनिया भर के समुद्रों और झीलों में बढ़ती प्लास्टिक की मात्रा है.चूंकि नमक समुद्र के पानी से बनाया जाता है, इसलिए नमक में भी प्लास्टिक के कड़ आसानी से आ जाते हैं.
इंचिओन नेशनल यूनिवर्सिटी ऑफ़ साउथ कोरिया ग्रीन पीस ईस्ट एशिया के शोधकर्ताओं ने इस शोध को 21 देशों के 39 ब्रांड के अलग-अलग नमक के नमूने लेकर किया. इन नमूनों में शोधकर्ताओं ने पाया कि 39 ब्रांड में केवल 3 ब्रांड ही ऐसे थे जिनमें प्लास्टिक नहीं था.बाकि के 36 अन्य ब्रांड के नमक के प्लास्टिक के छोटे-छोटे कड़ मौजूद थे. फ्रांस, ताइवान और चीन जैसे देशों को छोड़कर बाकि देश के ऩमक में प्लास्टिक खतरनाक स्तर पर पाया गया.
इस शोध के द्वारा ग्रीनपीस ईस्ट एशिया ने दुनिया के तमाम देश में प्लास्टिक के उपयोग का खतरनाक स्तर और लोगों के द्वारा प्लास्टिक के सेवन पर भी एक संबंध स्थापित किया. इस शोध में शामिल सेउंग क्यु किम कहते हैं कि लोगों के द्वारा प्लास्टिक का उपयोग उनके सेवन पर सीधा असर डालता है. इसका मतलब आप जितनी ज्यादा प्लास्टिक का उपयोग करेंगे उतनी ही ज्यादा मात्रा में आप प्लास्टिक का सेवन भी करते है.जोकि खाने की चीजों के द्वारा हमारे शरीर में पहुंच जाता है. बता दें कि इससे पहले 2015 में इडोनेशिया दुनिया का ऐसा दूसरा देश बन गया था जहां सबसे ज्यादा प्लास्टिक प्रदूषण होता है