Harikesh Singh IRS : पुलिस में ड्राइवर के बेटे ने पहले प्रयास में पास की UPSC की परीक्षा, 336वीं रैंक हासिल कर बनें अधिकारी

Harikesh Singh IRS : पुलिस में ड्राइवर के बेटे ने पहले प्रयास में पास की UPSC की परीक्षा, 336वीं रैंक हासिल कर बनें अधिकारी

Harikesh Singh IRS : संघ लोक सेवा आयोग की सिविल सेवा परीक्षा में लाखों अभ्यर्थी हर साल शामिल होते हैं, लेकिन सफलता उन्हें ही मिलती है जिनका मन मजबूत और हौंसला बुलंद होता है। आम तौर पर लोग मानते हैं कि इस परीक्षा को पास करने में सालों लग जाते हैं। हालांकि कुछ अभ्यर्थी पहली बार में ही UPSC की परीक्षा को क्रैक कर लेते हैं।

आज हम जिनकी बात करने जा रहे हैं, उन्होंने भी पहली बार में ही यह परीक्षा पास की है। इस IAS अधिकारी का नाम हरिकेश सिंह है। हरिकेश एक ऐसे परिवार से ताल्लुक रखते हैं जो आर्थिक रूप से संपन्न नहीं था लेकिन अपना सपना पूरा करने के लिए उन्होंने मुश्किल दौर में भी हिम्मत नहीं हारी और अधिकारी बनने का सपना पूरा किया. आइए जानते हैं हरिकेश के यूपीएससी के सफर के बारे में

कौन है (Harikesh Singh IRS) हरिकेश सिंह

हरकेश सिंह मूल रूप से राजस्थान के भरतपुर में मोरोली गांव के रहने वाले हैं। उनके पिता का नाम मानसिंह है, जो पुलिस विभाग में हेड कॉन्स्टेबल हैं और ड्राइवरी का काम करते हैं। वही मां सावित्री देवी गृहिणी है। हरकेश के परिवार में दो भाई और दो बहन है। हरिकेश बचपन से ही अपने पिता को बड़े-बड़े अधिकारियों के साथ देखते थे, ऐसे में वो खुद भी एक दिन अधिकारी बनने की चाहत रखते थे।

हरिकेश की शुरुआती शिक्षा दीक्षा आगरा में हुई। एयर फोर्स स्टेशन स्थित स्कूल से हरिकेश ने 12वीं तक पढ़ाई की है। इंटर में उन्होंने 90 फ़ीसदी अंक हासिल किए थे। जिसके बाद हरिकेश ने मौलाना आजाद राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (MANIT) भोपाल से B.Tech की डिग्री हासिल की। ग्रेजुएशन करने के बाद उन्होंने 2 साल सैमसंग कंपनी में इंजीनियर के तौर पर काम किया। नौकरी के दौरान ही उनके मन में सिविल सेवा को लेकर झुकाव पैदा हुआ।

पिता का सहयोग और मां की प्रेरणा ने आगे बढ़ाया

अपने सपने को साकार करने के लिए हरिकेश ने नौकरी छोड़ दी और पूरे तन मन से UPSC परीक्षा की तैयारी में लग गए। हरिकेश बताते हैं कि सीमित संसाधनों के बावजूद उनके पिता ने हमेशा बेहतर-से-बेहतर सुविधा देने की कोशिश की और इसी का परिणाम है कि वो अपना पूरा ध्यान पढ़ाई पर लगा पाए। पिता के सहयोग के साथ-साथ मां की प्रेरणा भी हमेशा उन्हें आगे बढ़ाती रही।

पहले प्रयास में मिली सफलता

हरिकेश ने दिल लगाकर इतनी मेहनत की थी, कि उन्हें UPSC के अपने पहले अटेम्प्ट में ही सफलता मिल गई। सिविल सेवा परीक्षा 2016 में हरकेश ने ऑल इंडिया 336वीं रैंक हासिल की। हरिकेश की सफलता पर पूरा परिवार खुशी से गदगद है। बेटे की कामयाबी पर मां सावित्री का कहना है कि उन्हें कभी उच्च शिक्षा का अवसर नहीं मिल पाया, लेकिन वो हमेशा चाहती थी कि उनके बच्चे पढ़ाई में कुछ बेहतरीन करें।

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